वन विभाग के संलिप्त कर्मचारियों पर विभाग ने कड़ी कार्रवाई की
चंबा, ( विनोद ) : जिला चंबा में वन विभाग ने अपने 2 कर्मचारियों को Suspend कर दिया है। इन कर्मचारियों पर विकास कार्य को बगैर विभागीय अनुमति, बगैर एस्टीमेट व बिना निविदा प्रक्रिया को अमलीजामा पहनाए कार्य करवाने के गंभीर आरोप लगे है।
इस मामले के सामने आते ही वन वृत चंबा के सी.सी.एफ. ने मामले में दो कर्मचारियों को प्रथम दृष्टि में दोषी पाते हुए निलंबित कर दिया है तो साथ ही सरकार को यह मामला भेजा है जिसमें इन्हें निष्काषित करने का आग्रह किया है।
यही नहीं मामले की तह तक जाने के लिए वन वृत चंबा के सी.सी.एफ. ने इस मामले की पूरी जानकारी करने का जिम्मा डी.एफ.ओ.हैडक्वाटर चंबा को सौंपा है। उक्त अधिकार को इस केस का जांच अधिकारी बनाया गया है। आरोप में Suspend कर दिया गया है। वन विभाग वृत चंबा के सी.सी.एफ. ने इस कार्यवाही को अंजाम दिया है। इस कार्रवाई के बारे में सरकार को जानकारी दे दी गई है।
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सस्पेंड किए एक कर्मचारी का हेडक्वार्टर चंबा में तो दूसरे का हेडक्वार्टर सलूणी में फिक्स किया गया है। इस बात की पुष्टि वन मंडल चंबा के डीएफओ हेडक्वार्टर ने इसकी पुष्टि की है। जानकारी के अनुसार वर्ष 2018-19 में वन परिक्षेत्र तीसा के दायरे में आने वाले घियास में वन विभाग का इंस्पेक्शन हट निर्माण के लिए 15 लाख रुपए प्राप्त हुए। इसी कार्य के लिए अगले वर्ष 35 लाख तो वर्ष 2020-21 में इसी कार्य के लिए 35 लाख रुपए की तीसरी किस्त वन विभाग को प्राप्त हुई।
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इस पैसे के माध्यम से वन विभाग ने चार मंजिला इंस्पैक्शन हट बनाया गया। हैरान करने वाली बात यह है कि इस निर्माण कार्य पर 85 लाख रुपए खर्च किए गए लेकिन इसके लिए न तो एस्टीमेट बनाया गया, न तो विभाग से इस कार्य की स्वीकृति ली गई और न ही इस कार्य के लिए किसी प्रकार की निविदा प्रक्रिया को अंजाम दिया गया। ऐसे में यह पूरा मामला निर्माण कार्य से संबंधित दिशा-निर्देशों की अवहेलना से संबंधित पाया गया।
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